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फ़ैसल अजमी शायरी | शाही शायरी

फ़ैसल अजमी शेर

20 शेर

अब वो तितली है न वो उम्र तआ'क़ुब वाली
मैं न कहता था बहुत दूर न जाना मिरे दोस्त

फ़ैसल अजमी




आवाज़ दे रहा था कोई मुझ को ख़्वाब में
लेकिन ख़बर नहीं कि बुलाया कहाँ गया

फ़ैसल अजमी