प्यार में ताना-बाना चलता रहता है
रूठना और मनाना चलता रहता है
वअ'दे और इरादे टूटे रहते हैं
पीना और पिलाना चलता रहता है
नई-नवेली कलियाँ खिलती रहती हैं
फूलों का मुरझाना चलता रहता है
प्यार के गीत सुनाते रहते हैं भँवरे
कलियों का शर्माना चलता रहता है
फूलों की रंगत दो इक दिन चल पाती है
ख़ुशबू का महकाना चलता रहता है

ग़ज़ल
प्यार में ताना-बाना चलता रहता है
अंजुम लुधियानवी