एक नज़्म लिखना बहुत आसान है
एक काग़ज़ और क़लम
होना चाहिए
और दिमाग़ और एक दिल
और वो लफ़्ज़
जो नज़्म लिखना चाह रहे हों
और दिल और दिमाग़ के दरमियान
एक सिलसिला
लेकिन कभी कभी नज़्म नहीं
नज़्म नहीं लिखी जा सकती
दिल और दिमाग़ और लफ़्ज़
काग़ज़ और क़लम
जब इन में से कोई एक नहीं होता
तो फिर
नज़्म दरमियान से खो जाती है
नज़्म
एक नज़्म लिखना आसान है
अज़रा अब्बास