EN اردو
की वफ़ा यार से एक एक जफ़ा के बदले | शाही शायरी
ki wafa yar se ek ek jafa ke badle

ग़ज़ल

की वफ़ा यार से एक एक जफ़ा के बदले

फ़ानी बदायुनी

;

की वफ़ा यार से एक एक जफ़ा के बदले
हम ने गिन गिन के लिए ख़ून-ए-वफ़ा के बदले

की सुपुर्द-ए-दर-ए-बुत-ख़ाना अजल ने मिरी ख़ाक
किस को सौंपा मुझे ज़ालिम ने ख़ुदा के बदले

लुत्फ़-ए-बेदाद हया ग़ुस्सा तग़ाफ़ुल शोख़ी
रंग क्या क्या न तलव्वुन ने अदा के बदले

हाए मैं कुश्ता-ए-अंदाज़ हूँ या रब किस का
हूर आई मुझे लेने को क़ज़ा के बदले

तीर से तेग़ से ख़ंजर से सिनाँ से मारा
कई पहलू मिरे क़ातिल ने क़ज़ा के बदले

कफ़न ऐ गर्द-ए-लहद देख न मैला हो जाए
आज ही हम ने ये कपड़े हैं नहा के बदले

इश्क़ अल्लाह बचाए वो मरज़ है 'फ़ानी'
ज़हर बीमार को देते हैं दवा के बदले