ख़ुशनुमा पल की गिरफ़्तारी करें
आ कि मिल कर ये समझदारी करें
एक छतरी में बचें हम धूप से
जो पहल दिल में है वो सारी करें
आप हम दोनों परेशाँ हो लिए
आइए फिर से वफ़ादारी करें
जो जगा दे ख़ूबसूरत ख़्वाब से
ऐसे सूरज से भी क्या यारी करें
लॉन में सब फैशनेबल प्लांट्स हैं
एक दो फूलों की भी क्यारी करें
ग़ज़ल
ख़ुशनुमा पल की गिरफ़्तारी करें
सोनरूपा विशाल