हम बहकते हुए आते हैं तिरे दरवाज़े
तेरे दरवाज़े बहकते हुए आते हैं हम
अहमद अता
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कौन आता है इस ख़राबे में
इस ख़राबे में कौन आता है
अजमल सिराज
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रह गया दिल में इक दर्द सा
दिल में इक दर्द सा रह गया
अजमल सिराज
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ठहर गया है दिल का जाना
दिल का जाना ठहर गया है
अजमल सिराज
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ज़िंदगी हम से चाहती क्या है
चाहती क्या है ज़िंदगी हम से
अजमल सिराज
बात भी कीजिए देख भी लीजिए
देख भी लीजिए बात भी कीजिए
अली ज़रयून
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बड़ा आज़ार-ए-जाँ है वो अगरचे मेहरबाँ है वो
अगरचे मेहरबाँ है वो बड़ा आज़ार-ए-जाँ है वो
अनीस अंसारी
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