EN اردو
तासीर सिद्दीक़ी शायरी | शाही शायरी

तासीर सिद्दीक़ी शेर

2 शेर

अच्छे हैं फ़ासले के ये तारे सजाते हैं
जितना क़रीब जाओ नज़र दाग़ आते हैं

तासीर सिद्दीक़ी




लब से सुनाऊँ हाल क्या दिल का मिरे हबीब
लब का ये मसअला है कि लब मुस्कुराते हैं

तासीर सिद्दीक़ी