बे-क़ुसूर आहें
कर रहीं सवाल
मासूमियत
क्यूँ हुई हलाक
तल्ख़ है जवाब
कौन है ज़िम्मेदार
बदलते हालात
मज़हबी दीवार
क़ानूनी लोच
या हमारी सोच
नज़्म
सवाल
ख़दीजा ख़ान
नज़्म
ख़दीजा ख़ान
बे-क़ुसूर आहें
कर रहीं सवाल
मासूमियत
क्यूँ हुई हलाक
तल्ख़ है जवाब
कौन है ज़िम्मेदार
बदलते हालात
मज़हबी दीवार
क़ानूनी लोच
या हमारी सोच